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Lakhimpur Kheri : गेहूं क्रय केंद्र खुले, पहले दिन किसी केंद्र पर शुरू नहीं हो पाई खरीद

गेहूं बिक्री की प्रक्रिया जानने के लिए केंद्रों पर पहुंचे किसान
मंडी की आढ़तों पर छुट्टी के चलते नहीं आए किसान
लखीमपुर खीरी। जनपद में सरकारी गेहूं खरीद के लिए 140 क्रय केंद्र खोले गए हैं, जिन पर पहले दिन गेहूं खरीद नहीं हो सकी है। ज्यादातर क्रय केंद्रों पर सन्नाटा पसरा रहा। कुछ क्रय केंद्रों पर किसान गेहूं बेचने की प्रक्रिया जानने जरूर पहुंचे। किसानों ने दो-तीन दिन बाद गेेेहूं लाने की बात कहकर केंद्र प्रभारियों से टोकन की डिमांड की। मंडी समिति राजापुर में होली की छुट्टियों के क्रम में आढ़तें बंद रहीं, जिससे आम दिनों की भांति किसान मंडी नहीं पहुंचे।
मंडी समिति राजापुर में आठ क्रय केंद्र खोले गए हैं, जिनमें बैनर टांगकर कांटा-पंखा रख दिए गए हैं, लेकिन किसानों के लिए व्यवस्थाएं नहीं हो पाई हैं। यहां विपणन शाखा ने चार क्रय केंद्र खोले हैं, जबकि मंडी समिति, पीसीयू, पीसीएफ और एनसीसीएफ ने एक-एक क्रय केंद्र खोला है। इन केंद्रों पर न तो किसानों के बैठने के लिए कुर्सियां हैं और न ही पीने के पानी की व्यवस्था। होली के तीन दिन बाद भी बृहस्पतिवार को मंडी बंद रहने से किसान नहीं आए। चारों तरफ सन्नाटा पसरा रहा। तैयारियों के दावे किए जा रहे हैं, लेकिन अब तक केंद्रों पर बोरे उपलब्ध नहीं कराए गए हैं।

ई-पॉप मशीनों की उपलब्धता नहीं हो पाई है। हालांकि अधिकारियों ने ई-पॉप मशीन की उपलब्धता होने तक पिछले साल की भांति किसानों से गेहूं खरीदने के निर्देश दिए हैं।
केंद्र प्रभारी सोनम सिंह और केके पाठक ने बताया कि बोरे गोदाम में रखे हैं। गेहूं की तौल कराने के लिए हैंडलिंग व परिवहन ठेकेदार की नियुक्ति हो गई है। पहले दिन एक भी किसान गेहूं लेकर नहीं आया, लेकिन जानकारी लेने कुछ किसान जरूर पहुंचे। अनुमान है कि करीब एक सप्ताह बाद गेहूं की आवक शुरू हो जाएगी।
जिला खाद्य विपणन अधिकारी लालमणि पांडेय, एआर कोऑपरेटिव रत्नाकर सिंह और पीसीएफ जिला प्रबंधक शैलेंद्र शुक्ला ने पहले दिन क्रय केंद्रों का निरीक्षण कर व्यवस्थाओं का जायजा लिया और किसानों के लिए आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। जिला खाद्य विपणन अधिकारी ने बताया कि ज्यादातर क्रय केंद्रों के खुलने की जानकारी मिली है, जो क्रय केंद्र किन्ही कारणवश नहीं खुले हैं, उन्हें भी जल्द खोलने के निर्देश दिए गए हैं।
मैलानी गेेहूं क्रय केंद्र भी रहा सूना
मैलानी। गेहूं खरीद शुरू होने के पहले दिन बृहस्पतिवार को एसएफसी का एक क्रय केंद्र पलिया रोड क्रॉसिंग के पास बंद हो चुकी एक राइस मिल के परिसर में खोला गया है। केंद्र प्रभारी दिनेश कुमार सिंह ने बताया कि केंद्र पर दो कांटे, पंखा, बारदाना, मॉयश्चर मशीन और सिलाई मशीन उपलब्ध हो गई है, ताकि खरीद शुरू हो सके। बताया कि ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करा चुके किसान अपना रजिस्ट्रेशन, आधार कार्ड और बैंक पासबुक लेकर केंद्र पर आकर अपना गेहूं तुलवा सकते हैं। हालांकि पहले दिन दोपहर तक एक भी किसान केंद्र पर अपना गेहूं लेकर नहीं आया था, जिससे तौल का मुहूर्त नहीं हो सका।
संपूर्णानगर क्षेत्र में भी गेहूं खरीद सेंटर नहीं
महंगापुर। शासन द्वारा गेहूं खरीद एक अप्रैल से शुरू कर दी गई है, लेकिन पलिया मंडी को छोड़ दिया जाए तो संपूर्णानगर क्षेत्र में एक भी क्रय केंद्र नहीं हैं। संपूर्णानगर थाना क्षेत्र में सैकड़ों किसानों को गेहूं की फसल बेचने के लिए पलिया मंडी या फिर भीरा खुटार जाना पड़ता है। संवाद
गेहूं क्रय केंद्र खुले, लेकिन सेंटर रहे सूने
पलियाकलां। गेहूं खरीद के लिए इलाके में बनाए गए क्रय केंद्रों को खोल दिया गया है, लेकिन पहले दिन खरीद शुरू नहीं हो पाई। केंद्रों पर सन्नाटा पसरा रहा। किसानों से गेहूं खरीद के लिए छह क्रय केंद्र बनाए गए हैं, जिसमें दो एसएफसी, पीसीएफ का एक व आरएफसी के तीन क्रय केंद्र खोले गए हैं, जिन पर बारदाना, कांटा आदि आ गया है। पिछले साल की तुलना में इस बार गेहूं का 1975 रुपये प्रति क्विंटल सरकारी रेट निर्धारित है। क्रय केंद्र पर बैठे लोगों ने बताया कि इस बार ई-पॉप मशीन पर किसान और केंद्र प्रभारी का अंगूठा लगेगा, जिसके बाद खरीद पूरी हो पाएगी। फिलहाल पहले दिन सभी क्रय केंद्रों पर सन्नाटा पसरा रहा।
पहले दिन 140 क्रय केंद्रों में से ज्यादातर केंद्र खोले गए हैं, लेकिन कहीं गेहूं की आवक नहीं होने से खरीद प्रारंभ नहीं हो सकी है। अभी होली की वजह से गेहूं की कटाई शुरू नहीं हुई है। तीन-चार दिनों बाद गेहूं कटाई शुरू होने के साथ ही गेहूं की आवक शुरू हो जाएगी।
- लालमणि पांडेय, जिला खाद्य विपणन अधिकारी
गेहूं क्रय केंद्र खुले, नहीं हुई खरीद
गोला गोकर्णनाथ। कृषि उत्पादन मंडी समिति में विभिन्न संस्थाओं के आधा दर्जन गेहूं क्रय केंद्र खोले गए हैं, जिन पर बैनर, बारदाना देखा गया, लेकिन गेहूं बेचने कोई नहीं आया, जिससे क्रय केंद्रों पर सन्नाटा पसरा रहा। लोग बताते हैं कि पड़ोस के क्षेत्र में अभी गेहूं की फसल पककर तैयार नहीं हो पाई है।
अमीरनगर। कस्बे की सहकारी समिति पर बनाए गए गेहूं क्रय केंद्र पर सन्नाटा पसरा रहा। पहले दिन यहां पर गेहूं की खरीद शुरू नहीं हुई, जबकि क्षेत्र में तेजी के साथ गेहूं की कटाई का काम चल रहा है।
बिजुआ से दाउदपुर तक कोई खरीद केंद्र नहीं
गुलरिया। लखीमपुर पलिया राजमार्ग पर दाउदपुर, मालपुर, पड़रिया तुला, बस्तौली, बिजुआ में अभी तक कोई गेहूं क्रय केंद्र नहीं खुला है, जबकि गेहूं की कटाई अपने चरम पर है।
ऐसे तो बर्बाद हो जाएंगे किसान
अंबरपुरवा निवासी किसान रवि खन्ना का कहना है कि हम लोगों का धान मिट्टी के मोल बिका, जिससे हम बर्बाद हो गए। अब सरकार ने गेहूं क्रय केंद्रों की व्यवस्था न करके आढ़तियों को फायदा पहुंचाने का काम किया है। इससे मूल्य समर्थन योजना का लाभ मिल पाना मुश्किल है।
आढ़तियों को मिल गई है पूरी छूट
तिखडा निवासी मुन्नालाल का कहना है कि सरकार किसानों को फसल का उचित मूल्य देना नहीं चाह रही जिससे 20 किमी की रेंज में कोई गेहूं खरीद केंद्र नहीं खोला गया है। जब गेहूं क्रय केंद्र ही नहीं खुले हैं तो आढ़तियों को अपनी मनमानी करने की छूट मिल गई है, चाहें वह किसानों का गेहूं किसी मूल्य पर खरीदें कोई टोकने वाला नहीं है।